स्मार्ट सिटी
- भारत सरकार ने 25 जून ,2015 को स्मार्ट सिटी मिशन प्रारंभ किया था ।
- स्मार्ट सिटी मिशन का उद्देश्य उन प्रमुख शहरों को प्रोत्साहित करना है जो मुख्य अवसंरचना मुहैया कराते हैं और अपने नागरिकों को बेहतर जीवन स्तर प्रदान करते हैं, एक स्वच्छ और सुस्थिर वातावरण प्रदान करते हैं और ‘स्मार्ट’ समाधान लागू करते हैं ।
- सुस्थिर और समावेशी विकास पर जोर है और सघन क्षेत्रों पर ध्यान देने, प्रकृति मॉडल सृजित करने का विचार है जो अन्य इच्छुक शहरों के लिए प्रकाश स्तंभ, के रूप में कार्य करेगा । स्मार्ट सिटीज़ मिशन का तात्पर्य ऐसे उदाहरण स्थापित करने से है जो स्मार्ट सिटी के भीतर और बाहर दोनों ओर परिलक्षित हो सके जो देश के विभिन्न क्षेत्रों और भागों में ऐसे स्मार्ट सिटी का निर्माण करने में उत्प्रेरक की भूमिका निभा सके ।
- एक स्मार्ट सिटी के प्रमुख अवसंरचना तत्वों में पर्याप्त जलापूर्ति, सुनिश्चित विद्युत आपूर्ति, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन सहित सफाई, सक्षम शहरी गतिशीलता और सार्वजनिक परिवहन, विशेषत : गरीबों के लिए किफायती आवास , सक्षम आईटी कनैक्टिविटी और डिजीटेलाइजेशन, सुशासन, विशेषत : ई-गवर्नेंस और नागरिक भागीदारी , सुस्थिर पर्यावरण, विशेषत : महिलाओं , बच्चों और वृद्ध नागरिकों की सुरक्षा, स्वास्थ्य और शिक्षा शामिल होंगे।
- स्मार्ट सिटीज मिशन के कार्यनीतिक घटक शहर सुधार (रेट्रोफिटिंग) , शहर नवीकरण (पुनर्विकास) और शहर विस्ता र (ग्रीन फील्ड विकास) तथा पैन-सिटी पहल प्रयास है जिसमें शहर के अधिकांश भाग पर स्मार्ट समाधान लागू किया जाएगा ।
- क्षेत्र आधारित विकास में स्लमों सहित मौजूदा क्षेत्रों को (रेट्रोफिट एवं पुनर्विकास) बेहतर नियोजन मानव बसाव में परिवर्तित किया जाएगा जिससे पूरे शहर के जीवन स्तर में सुधार आएगा । सुनियोजित एवं पूर्णतया सेवाप्रद नए क्षेत्रों (ग्रीनफील्ड) का विकास शहरों के आस पास शहरी क्षेत्रों में तेजी से बढ़ते आबादी को समायोजित करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा । स्मार्ट समाधानों का अनुप्रयोग शहरों को अवस्थापना एवं सेवाओं में सुधार के लिए प्रौद्योगिकी का उपयोग करने में सक्षम बनाएगा ।
- इस तरीके से व्यापक विकास, जीवन की गुणवत्ता बढ़ाएगा, रोजगार उत्पन्न करेगा और सभी के लिए विशेष तौर से गरीबों और वंचितां की आय बढ़ाएगा जिससे समावेशी शहरों का मार्ग प्रशस्त होगा ।